गुरुवार, 6 नवंबर 2014

क्रांति-1


काफ़ी टाइम से वे करने के मूड में थे-

‘यार, लोग नहीं आते....’

‘लोगों का आपने करना क्या है? जिनके खि़लाफ़ होनी वे भी आपके लोग हैं। जिन्होंने करनी है, वे भी आपके लोग हैं, मिल-जुलकर कर डालो....समस्या क्या है?’
‘...............’

-संजय ग्रोवर


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